सिद्धार्थ उपनिषद Page 138
सिद्धार्थ उपनिषद Page 138 (412) किसी को जानने के लिए तीन बातें जानना जरूरी है - नाम, रूप और गुण . गोविन्द को भी जानने के लिए भी यही ...
सिद्धार्थ उपनिषद Page 138 (412) किसी को जानने के लिए तीन बातें जानना जरूरी है - नाम, रूप और गुण . गोविन्द को भी जानने के लिए भी यही ...
सिद्धार्थ उपनिषद Page 137 (410) आत्मा केन्द्र की तरह है मन परिधि की तरह है . आत्मा सूर्य की तरह है मन उसकी किरण की तरह है . आत्...
सिद्धार्थ उपनिषद Page 136 (409) जीवित गुरु के साथ तुम रुक नहीं सकते किसी विधि पर . लेकिन जब विधि देकर गुरु शरीर से विदा हो गया...
सिद्धार्थ उपनिषद Page 135 (407) तुम्हें पता है हमारी मां कितनी रातें हमारे लिए जागती है . मां ने जो हमारे लिए किया है क्या हम चुका...
कोई बुद्धिमान आदमी कभी किसी का अनुयायी नहीं बनता - ओशो जो आदमी भी किसी का अनुयायी बनता है, वह आदमी पहली तो बात है खतरनाक है, डेंजरस है। क्य...